International Journal of Humanities and Social Science Research

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International Journal of Humanities and Social Science Research
International Journal of Humanities and Social Science Research
Vol. 2, Issue 9 (2016)

महाभारत कालीन : नारी विषयक चिन्तन के दुर्बल पक्ष


डाॅ0 साधना सहाय

महाभारत, भारत के राष्ट्रीय इतिवृत्त एवं चरित का अत्यन्त मौलिक ग्रंथ है। इसको भारतीय संस्कृति का सम्पूर्ण आलेख कहें तो कोई अत्युक्ति नहीं होगी। संस्कृति ही नहीं महाभारत इतिहास भी है। मोक्ष प्राप्ति का मार्ग बताने वाला तथा जीवन के प्रत्येक पथ पर आने वाले संकटों की पहचान कराने वाला अद्भुद ग्रंथ भी है। साथ ही उन संकटों से मुक्ति दिलाने वाले उपायों को बताने वाला धर्मग्रंथ भी है। इस ग्रंथ की सबसे बड़ी विशेषता है भगवद् गीता का ज्ञान, जो श्री कृष्ण द्वारा अर्जुन को कुरुक्षेत्र के युद्ध प्रांगण में दिया गया था भगवद्गीता सम्पूर्ण मानव जाति की रक्षा करने में समर्थ तथा ज्ञान-भक्ति-कर्म की विशद व्याख्या करने के कारण एक कालजयी रचना बन गयी है। आज भी सम्पूर्ण विश्व में इसके महत्व को स्वीकारा जाता है। इसीलिए महाभारत को ‘प×चमो वेदः’ भी कहा गया है।
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डाॅ0 साधना सहाय. महाभारत कालीन : नारी विषयक चिन्तन के दुर्बल पक्ष. International Journal of Humanities and Social Science Research, Volume 2, Issue 9, 2016, Pages 74-76
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